
Up News- मऊ सहित पूर्वी उत्तर प्रदेश में प्रचंड गर्मी ने अपना रौद्र रूप दिखाना शुरू कर दिया है । इधर कई दिनों से तापमान 40 से 42 डिग्री सेल्सियस के आसपास दर्ज किया गया है। गर्मी और लू का प्रकोप जारी है। सूरज की तपिश बढ़ने से दोपहर के समय बहुत तेज गर्म हवाएं चल रही हैं जिससे हीट स्ट्रोक यानी लू लगने का खतरा बढ़ गया है।
पूर्वी उत्तर प्रदेश में अच्छी सेवाओं एवं चिकित्सा के लिए प्रसिद्ध फातिमा हॉस्पिटल एवं मंगलम क्लीनिक मऊ के लब्ध प्रतिष्ठित फिजिशियन डॉक्टर मनोज यादव बताते हैं कि हीट स्ट्रोक यानी लू से शरीर के तापमान को नियंत्रित करने की क्षमता प्रभावित होती है। ये समस्या आमतौर पर तब होती है जब शरीर अपने सामान्य तरीकों, खास तौर पर पसीने के जरिए ठंडा नहीं हो पाता। एक सवाल के जवाब में डॉक्टर मनोज यादव बताते हैं कि तापमान में वृद्धि और लंबे समय तक गर्मी के संपर्क में रहने के परिणाम काफी खतरनाक हो सकते हैं जिससे शरीर के कई महत्वपूर्ण अंगों को नुकसान भी हो सकता है। डॉक्टर मनोज यादव के मुताबिक लू यानी हीट स्ट्रोक की वजह से चक्कर, बेहोशी, धुंधलापन, बोलने में दिक्कत और भ्रम जैसी स्थिति भी हो सकती है। हीट स्ट्रोक के कारण रक्त प्रवाह कम हो जाता है और महत्वपूर्ण अंगों को नुकसान पहुंचता है। डॉक्टर मनोज यादव बताते हैं हीट स्ट्रोक के लक्षणों वाले किसी भी व्यक्ति को तुरंत किसी नजदीकी अस्पताल में चिकित्सा सहायता लेनी चाहिए ।
डॉक्टर मनोज यादव ने बताया कि हीट स्ट्रोक की वजह से निर्जलीकरण,
सांस लेने में दिक्कत, शरीर में ऐंठन,त्वचा पर दाने, मानसिक स्वास्थ्य पर प्रभाव,ब्लड प्रेशर का लो होना,गुर्दे की क्षति जैसी कई अन्य तरह की समस्याएं भी आ सकती हैं। हीट स्ट्रोक से कैसे बचें यह पूछे जाने पर डॉक्टर मनोज यादव बताते हैं….घर से बाहर निकलने वाली कोई भी गतिविधि शाम या सुबह के समय में करें । धूप में हेवी फिजिकल एक्टिविटी ना करें और जितना संभव हो छाया में रहें। गर्मियों में नारियल पानी, सत्तू , बेल का शरबत, छाछ यानी मट्ठा, जूस, नींबू पानी जैसी चीजों का सेवन करना हीट स्ट्रोक से बचाव में सहायक सिद्ध होता है। इसके अलावा खिचड़ी, सलाद, दही, खीरा, ककड़ी, टमाटर जैसी चीजें शामिल करने से शरीर में ज्यादा पानी जाएगा जो हीट स्ट्रोक से बचाव में सहायक होगा।