प्रदेश में उन सीटों को लेकर भाजपा नेताओं की चिंता बढ़ जाती है, जहां पार्टी दिग्गजों को मैदान में उतारा है। जिन क्षेत्रों में सात सांसदों को उतारा है उनमें से कुछ जगह भाजपा को बहुत ज्यादा ताकत झोंकना पड़ रही है। उम्मीदवार घोषित करने का पार्टी के यह मास्टर स्ट्रोक चुनाव की नजदीक आती तारीख के साथ मिललरही चुनौती के कारण सवालों के घेरे में भी आरहा है। हालांकि लड़ाई आर-पार की हो गई है। बात शुरु करते हैं केंद्रीय मंत्री नरेंद्रसिंह तोमर की उम्मीदवारी वाली दिमनी की। दिमनी में केंद्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर के सामने कांग्रेस के रविंद्र सिंह तोमर हैं। पिछली बार भाजपा को इस सीट पर 18477 वोटों से हार का सामना करना पड़ा था। पार्टी ने इस सीट को प्रतिष्ठा का प्रश्न बना लिया है।
यहां प्रचार में कांग्रेस नरेन्द्र्रसिंह तोमर को घेरकर चल रही है। कांग्रेस तोमर को तगड़ी चुनौती दे रही है। एक सीट है निवास। यहां से पिछली बार पार्टी के केंद्रीय मंत्री फग्गनसिंह कुलस्ते के भाई रामप्यारे कुलस्ते कांग्रेस से 28 हजार से ज्यादा वोटों से हारे थे। भाजपा ने इस सीट पर फग्गनसिंह कुलस्ते को उतारकर मैदान मारने की तैयारी की है लेकिन केंद्रीय मंत्री को भी पूरा जोर लगाना पड़ रहा है। जिन सांसदों को पार्टी ने विधायक का टिकट दिया है उसमें निवास विधानसभा सीट ही ऐसी है जहां पार्टी को बड़ी हार मिली थी। केंद्रीय मंत्री कुलस्ते के साथ भाजपा यहां कोई कसर बाकी नहीं रखना चाह रही है।
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केंद्रीय मंत्री कुलस्ते के सामने निवास सीट पर कांग्रेस ने चैन सिंह बरकड़े को उम्मीदवार बनाया है। इसी तरह नरसिंहपुर में भी भाई की जगह भाजपा ने इस बार केंद्रीय मंत्री प्रहलाद पटेल को प्रत्याशी बनाकरसीट को आसान करने की रणनीति अपनाई है। उनके सामने कांग्रेस के लखन सिंह पटेल खड़े हैं। ये भी पहली बार विधायक बनने के लिए मतदाताओं से मनुहार कर रहे हैं। यहां का मुकाबला भी रोचक हे। सीधी में सांसद रीति पाठक के सामने कांग्रेस के ज्ञान सिंह खड़े हैं लेकिन रीति पाठक को ज्यादा बड़ी चुनौती भाजपा के मौजूद विधायक केदार शुक्ला दे रहे हैं। उनके अलावा भी दूसरे असंतुष्ट नेता चुनौती बन गए। उधर, जबलपुर पश्चिम सीट पर सांसद राकेश सिंह के सामने हारी हुई सीट को जिताने की चुनौती है, उन्हें भी असंतुष्टों का सामना करना पड़ रहा है। उनके सामने कांग्रेस के मौजूदा विधायक और पूर्व मंत्री तरुण भानोत हैं। गाडरवारा में सांसद राव उदय प्रताप सिंह के सामने कांग्रेस विधायक सुनीता पटेल खड़ी हैं। सतना में जातीय और क्षेत्रीय समीकरण के अलावा भाजपा के असंतुष्ट नेताओं ने सांसद गणेश सिंह को चिंता में डाल रखा है। उन्हें कांग्रेस के विधायक सिद्धार्थ कुशवाहा चुनौती दे रहे हैं।