
Bangladesh Violence : बांग्लादेश के मैमनसिंह जिले में शुक्रवार को एक हिंदू युवक की भीड़ द्वारा पीट-पीटकर हत्या कर दी गई। मृतक की पहचान 27 वर्षीय दीपू चंद्र दास के रूप में हुई है। इस घटना ने देश में पहले से जारी अशांति के बीच अल्पसंख्यकों की सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।
मृतक के पिता रविलाल दास ने इस दिल दहला देने वाली घटना का विवरण साझा करते हुए बताया कि उनके बेटे को पहले बेरहमी से पीटा गया, फिर एक पेड़ से बांधकर केरोसिन डालकर जिंदा जला दिया गया। उन्होंने कहा कि परिवार को शुरुआत में इस घटना की जानकारी सोशल मीडिया के जरिए मिली।
पत्रकारों से बातचीत में रविलाल दास ने कहा कि मुझे बताया गया कि मेरे बेटे को बुरी तरह पीटा गया है। थोड़ी देर बाद मेरे चाचा आए और बताया कि उसे एक पेड़ से बांध दिया गया है। फिर उस पर केरोसिन डालकर आग लगा दी गई। जला हुआ शव वहीं छोड़ दिया गया। उन्होंने बांग्लादेश सरकार की भूमिका पर भी नाराजगी जताई और कहा कि अब तक किसी भी सरकारी अधिकारी ने परिवार को कोई आश्वासन नहीं दिया है।
इस मामले पर बांग्लादेश के मुख्य सलाहकार मुहम्मद यूनुस ने बताया कि हत्या के सिलसिले में सात लोगों को गिरफ्तार किया गया है। रैपिड एक्शन बटालियन (RAB) ने विभिन्न इलाकों में छापेमारी कर आरोपियों को हिरासत में लिया है।
गिरफ्तार आरोपियों में मो. लिमोन सरकार (19), मो. तारिक हुसैन (19), मो. मानिक मियां (20), इरशाद अली (39), निजुम उद्दीन (20), आलमगीर हुसैन (38) और मो. मिराज हुसैन अकन (46) शामिल हैं।
सरकार ने घटना की निंदा की
सरकार ने एक बयान जारी कर लिंचिंग की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि “नए बांग्लादेश में ऐसी हिंसा के लिए कोई जगह नहीं है। इस जघन्य अपराध में शामिल किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा।”
यह घटना ऐसे समय सामने आई है जब युवा नेता शरीफ उस्मान हादी की मौत के बाद बांग्लादेश के कई हिस्सों में हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं। इन प्रदर्शनों के दौरान भारत विरोधी नारेबाजी भी देखी गई है। ढाका स्थित भारतीय उच्चायोग और चटगांव, खुलना व राजशाही में स्थित सहायक उच्चायोगों के बाहर विरोध प्रदर्शन हुए।
इसके अलावा, द डेली स्टार समेत कई अखबारों के दफ्तरों पर भी हमले की खबरें सामने आई हैं। हालात की गंभीरता को देखते हुए भारत ने बांग्लादेश में अपने मिशनों की सुरक्षा को लेकर कड़ा विरोध दर्ज कराया है।



