Prayagraj News – संयुक्त राज्य इंजीनियरिंग सेवा मुख्य परीक्षा पर हाईकोर्ट का बड़ा आदेश

Prayagraj News – इलाहाबाद हाईकोर्ट की खंडपीठ ने उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (UPPSC) की संयुक्त राज्य इंजीनियरिंग सेवा मुख्य परीक्षा स्थगित करने के एकलपीठ के आदेश पर रोक लगा दी है। खंडपीठ ने कहा कि परीक्षा पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार आयोजित होगी, लेकिन परिणाम घोषित नहीं किया जाएगा।

एकलपीठ ने पहले निर्देश दिया था कि आयोग प्रारंभिक परीक्षा का संशोधित परिणाम जारी करे और उसके बाद ही मुख्य परीक्षा कराए। यह आदेश न्यायमूर्ति अजित कुमार ने रजत मौर्या व अन्य 41 अभ्यर्थियों की याचिकाओं पर दिया था। आयोग ने इसके खिलाफ विशेष अपील दायर की, जिस पर न्यायमूर्ति एम.सी. त्रिपाठी और न्यायमूर्ति अनीस गुप्ता की खंडपीठ ने सुनवाई की।

याचिकाकर्ताओं का तर्क था कि आयोग ने भर्ती विज्ञापन के अनुसार कुल रिक्तियों के मुकाबले 1:15 के अनुपात (9135 अभ्यर्थियों) को मुख्य परीक्षा हेतु योग्य घोषित नहीं किया, बल्कि केवल 7358 को ही सफल माना। साथ ही आयोग ने प्रारंभिक परीक्षा का परिणाम श्रेणीवार जारी किया और योग्य आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों को अनारक्षित वर्ग में समायोजित नहीं किया, जो आरक्षण सिद्धांत के विपरीत है।

एकलपीठ ने आयोग को निर्देश दिया था कि वह प्रारंभिक परीक्षा की मेरिट सूची आरक्षण के सिद्धांतों के अनुरूप दोबारा तैयार करे और यह सुनिश्चित करे कि आरक्षित वर्ग के उच्च मेरिट वाले अभ्यर्थियों को अनारक्षित सूची में स्थान मिले। इसके बाद ही मुख्य परीक्षा आयोजित करने की अनुमति दी जाए।

अब खंडपीठ ने मुख्य परीक्षा तो कराने की अनुमति दी है, लेकिन परिणाम जारी करने पर रोक बनाए रखी है।

रिपोर्ट: राजेश मिश्रा प्रयागराज

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