
Naini News: छिवकी जंक्शन यार्ड में अमृतसर से माल गाड़ी के पैंतालीस वैगन से आई पंद्रह हजार गेंहू की बोरिया बुधवार की रात तेज आंधी और बारिश की चपेट में आने से भीग गई। गेंहू की यह बोरियां एफसीआई की है। खुले में रखे गेंहू की बोरियों भीगना एफसीआई और रेलवे की लापरवाही को उजागर करता है। अधिकारी और कर्मचारियों द्वारा गुरुवार की सुबह सुबह ही बोरियों हटाने का काम मजदूर लगाकर शुरू कर दिया गया जिससे कि किसी को यह जानकारी न हो सके। मिली जानकारी के अनुसार छिवकी रेलवे यार्ड में पंजाब के अमृतसर से मालगाड़ी से एफसीआई ने लगभग 15 हजार बोरियों को मंगाया था जिसको खुले में ही रखा गया था ।
बुधवार की रात में तेज आँधी और बारिश की चपेट में आने से यह बोरियां भींग गई। बोरियों का भीगना रेलवे और एफसीआई की लापरवाही को उजागर करता है अगर त्रिपाल की व्यवस्था होती तो यह बोरियां नही भींगती। गुरुवार की सुबह धूप में बोरियों को हटाकर सूखने की व्यवस्था अधिकारियों द्वारा की जाने लगी मजदूरों को लगाकर वहाँ से बोरियो को हटाया जाने लगा। ट्रक मंगवाकर बोरियों को एफसीआई गोदाम भेजा जाने लगा ताकि किसी की नजर न पड़े।इस सम्बंध रेलवे हेड चितरंजन और एफसीआई के असिस्टेंट ग्रेड 2 नवीन कुमार ने बताया कि अचानक हुई बारिश से कुछ बोरियां भींगी है और उन्हें ढकने की व्यवस्था नही हो पाई।
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आपको बता दे कि एफसीआई अन्य प्रदेशों से अन्न मंगवाकर स्टोर में भंडारण करवाता है । उसके बाद सूची बनाकर अन्यत्र सप्लाई की जाती है। सूत्रों की माने तो एफसीआई के अधिकारियों की मिलीभगत से प्रत्येक वर्ष गर्मी और बरसात के मौसम में इसी तरह गेंहू को भींगा कर सड़ा घोषित कर गेंहू को बाजार में बेच दिया जाता है। इस तरह के मामले प्रत्येक वर्ष देखने को मिलता है लेकिन अधिकारियों की मिलीभगत से कोई कार्यवाही नही होती है और मामले की लीपापोती हो जाती है।
रिपोर्ट- घनश्याम शुक्ला, प्रयागराज